मन की बातः योग दिवस, आपातकाल और सेहत की बात! प्रधानमंत्री मोदी ने फिर की स्वदेशी सामान खरीदने की अपील

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज रविवार को मन की बात कार्यक्रम के 123वें एपिसोड को सम्बोधित किया। कार्यक्रम की शुरुआत पीएम मोदी ने योग दिवस पर चर्चा से की। इसके बाद आपातकाल का समय याद कर इसकी आलोचना की और कहा कि इमरजेंसी के समय लड़ने वाले लोगों को याद रखा जाना चाहिए। इस बीच सेहत पर बात करते हुए उन्होंने खाने में 10 फीसदी तक तेल कम करने की बात दोहराई और लोगों से स्वदेशी सामान खरीदने की अपील भी की। पीएम ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय योग दिवस लगातार भव्य होता जा रहा है। पीएम ने तेलंगाना में दिव्यांगजनों के योग से लेकर कश्मीर में जवानों के योग तक का जिक्र किया। पीएम ने तीर्थ यात्रियों की मदद करने वाले लोगों के बारे में बात करते हुए कैलाश पर्वत का जिक्र किया और कहा कि अमरनाथ यात्रा तीन जुलाई से शुरू हो रही है। पीएम ने तीर्थ यात्राओं पर जाने वाले सभी लोगों को और उनकी मदद करने वाले लोगों को शुभकामनाएं दीं। इंटरनेशनल लेबर ऑर्गनाइजेशन और विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भारत की उपलब्धियों की तारीफ की है। आंखों की बीमारी ट्रैकोमा देश में एक समय पर आम थी।
इलाज नहीं मिलने पर इससे लोग अंधे भी हो जाते थे, लेकिन भारत सरकार ने इसे खत्म करने का संकल्प लिया। अब विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भारत को ट्रैकोमा फ्री घोषित कर दिया है। विश्व स्वाथ्य संगठन ने भी इस बात की तारीफ की है कि भारत ने बीमारी को दूर करने के साथ ही उसके कारणों को भी खत्म किया है। पीएम मोदी ने आपातकाल का समय याद करते हुए कहा कि इमरजेंसी के समय पर अभिव्यक्ति की आजादी खत्म कर दी गई थी। लोगों पर अत्याचार हुआ था, लेकिन भारत की जनता नहीं हारी और इमरजेंसी खत्म होने के बाद इसे लगाने वाले लोग चुनाव हार गए थे। पीएम ने कहा कि हमें आपातकाल का विरोध करने वाले लोगों को याद रखना चाहिए। इससे हमें अपने संविधान को बचाए रखने की ऊर्जा मिलती है। पीएम ने अपने संबोधन में बोरोलैंड के फुटबॉल टूर्नामेंट के बारे में भी बताया, जिसमें हजारों टीमें शामिल हैं। बोरोलैंड एक समय पर संघर्ष के लिए जाना जाता था, लेकिन अब यहां के लोग भी मुख्य धारा में शामिल हो गए हैं और असम से बाहर निकलकर अपनी पहचान बना रहे हैं।